पूंछरी का होगा सुनियोजित और समग्र विकास, उत्तर भारत का प्रमुख तीर्थ केंद्र बनेगा
राजस्थान धरोहर प्राधिकरण के अध्यक्ष ओंकार सिंह लखावत की अध्यक्षता में मंगलवार को पूंछरी स्थित जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग के गेस्ट हाउस में एक उच्च स्तरीय बैठक आयोजित हुई। बैठक में गृह, गौपालन, पशुपालन, डेयरी तथा मत्स्य विभाग राज्य मंत्री जवाहर सिंह बेढ़म ने भी शिरकत की। बैठक में पूंछरी क्षेत्र के समग्र विकास, सौंदर्यकरण और श्रद्धालुओं के लिए सुविधाओं के विस्तार को लेकर तैयार किए गए मास्टर प्लान पर विस्तृत चर्चा की गई और किए जा रहे विकास कार्यों की समीक्षा की। प्रदूषण मुक्त, सर्वश्रेष्ठ तीर्थ केंद्र बनाने का लक्ष्य प्राधिकरण अध्यक्ष लखावत ने बैठक में उपस्थित प्रत्येक अधिकारी से पूंछरी विकास के लिए सुझाव लिए। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार के लिए क्षेत्र का विकास और श्रद्धालुओं के लिए सुविधाएं सबसे महत्वपूर्ण हैं। उन्होंने कहा, “हमारे पुरखों ने गोवर्धन परिक्रमा सहित समस्त यात्री मार्गों पर वर्षों से श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए हरे पेड़, प्याऊ और बैठने के स्थान बनाए थे। हमें इसी भावना को आगे बढ़ाते हुए विकास कार्य करने हैं।” उन्होंने अधिकारियों को ‘जनता को देवता’ मानते हुए पूरी निष्ठा से कार्य करने के निर्देश दिए।
गृह राज्य मंत्री जवाहर सिंह बेढ़म ने विकास कार्यों पर चर्चा करते हुए कहा कि पूंछरी को उत्तर भारत का एक बेहतरीन, प्रदूषण मुक्त और सर्वश्रेष्ठ तीर्थ केंद्र बनाया जाएगा। उन्होंने कहा कि यहां प्राकृतिक दृष्टि से अधिक से अधिक वृक्ष लगाए जाएं ताकि श्रद्धालुओं को एक आध्यात्मिक और प्राकृतिक वातावरण मिल सके।
पार्किंग और बस स्टैंड होगा विकसित
बेढ़म और लखावत ने पूंछरी में ट्रैफिक की समस्या के स्थायी समाधान के लिए पार्किंग और बस स्टैंड प्रस्तावित करने के निर्देश दिए। उन्होंने स्पष्ट किया कि पार्किंग स्थल मंदिर से अधिक दूरी पर नहीं होना चाहिए ताकि श्रद्धालुओं को असुविधा न हो।
मंदिरों का होगा सौंदर्यकरण, दिखेंगी श्री कृष्ण की लीलाएं
बैठक में परिक्रमा मार्ग के मंदिरों के जीर्णोद्धार एवं सौंदर्यकरण (फेसलिफ्ट) के कार्यों पर चर्चा हुई। लखावत ने बताया कि इन कार्यों के लिए आगामी दिवसों तक निविदाएं जारी कर दी जाएंगी। इसके अतिरिक्त पक्की सड़कों को और बेहतर बनाने के निर्देश दिए गए। लखावत ने निर्देश दिए कि विकास कार्यों में भगवान श्री कृष्ण की लीलाओं को प्रदर्शित करने वाले तत्व शामिल किए जाएं। इसके अतिरिक्त मथुरा से उज्जैन तक प्रस्तावित ‘कृष्ण गमन पथ’ कॉरिडोर और बृज चौरासी कोस परिक्रमा के कार्य को भी जल्द शुरू किया जाएगा।
विभागों में हो पूर्ण समन्वय, सड़क तोड़ने की नौबत न आए
अध्यक्ष लखावत ने ड्रेनेज और सीवरेज प्लान पर विशेष ध्यान देने को कहा। उन्होंने मुख्यमंत्री जी के निर्देशों के अनुरूप भरतपुर विकास प्राधिकरण (बीडीए) को पानी निकासी की व्यवस्था में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने तथा जल संसाधन विभाग को कुंड और पोखर से पानी की निकासी की व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।
इस अवसर पर जिला कलेक्टर डीग उत्सव कौशल, अतिरिक्त जिला कलेक्टर राजकुमार कस्वा, मुख्य कार्यकारी अधिकारी भरतपुर मृदुल सिंह, आयुक्त भरतपुर विकास प्राधिकरण कनिष्क कटारिया सहित जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी, जल संसाधन, विद्युत (जेवीवीएनएल), सार्वजनिक निर्माण विभाग, राजस्व और सूचना एवं प्रौद्योगिकी विभाग के वरिष्ठ अधिकारीगण मौजूद रहे
